नर्मदापुरम: शहर में नेताओं के बीच राजनीतिक प्रतिस्पर्धा इस कदर हो गई है कि दूसरे की लकीर छोटी करने के फेर में विकास कार्यो का भी विरोध करने लगे हैं। भाजपा जहां शहर में कुछ उल्लेखनीय काम करवा कर उसे अपनी और सरकार की उपलब्धि प्रचारित करने के लिए के जुट हुई है तो वहं भाजपा से जुड़े कुछ असंतुष्ठ लोग षडय़ंत्रपूर्वक इन प्रयासों को पलीता लगाने में तुले हुए हैं। ताजा मामला रामलीला मैदान पर स्टेडियम निर्माण का है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की पहल पर बनने जा रहे उक्त मैदान के लिये शासन ने राशि जारी कर दी है, नगरपालिका निर्माण करने की तैयारी में है, लेकिन ऐन मौके पर राजनैतिक द्वंदता के चलते भाजपा के ही समर्थक, पदाधिकारी और पूर्व नपाध्यक्ष के परिवार के लोग इस मैदान के निर्माण पर रोक लगाने के लिये अमादा है।
आगामी विधानसभा चुनाव सिर पर हैं, जिले में अधूरे निर्माण कार्य को पूर्ण कराने के लिये जनप्रतिनिधि अपने-अपने क्षेत्र में ताबड़तोड़ निर्माण करा रहे है जिससे जनता के बीच यह उपलब्धि लेकर जा सकें। लेकिन नर्मदापुरम विधानसभा में भाजपा का एक गुट षडय़ंत्र पूर्वक अपनी ही पार्टी के विधायक द्वारा स्वीकृत कराये गये निर्माण कार्य में बाधा बने हुए हैं। रामलीला मैदान पर संभाग का सबसे प्राचीन और बड़े आयोजन होता है, जहां लाखों की संख्या में लोग रामलीला, दशहरा देखने के लिये उक्त मैदान पर एकत्रित होते हैं। लेकिन इस मैदान पर बुनियादी सुविधाएं न होने एवं आसपास लगातार हो रहे अतिक्रमणों को देखते हुए व्यवस्थित एवं सुविधाजनक बनाया जाना है, लेकिन भाजपा समर्थक किराना एसोसिएशन के अध्यक्ष और पदाधिकारी जो कि सभी भाजपा के पदाधिकारी या पूर्व पदाधिकारी हैं, वह इसका विरोध इसलिये कर रहे है कि इन व्यापारियों की दुकानों के सामने बारिश में जलभराव की स्थिति बनेगी। जबकि बाजार क्षेत्र के नालों पर इन्हीं भाजपा के व्यापारियों ने कब्जा और अतिक्रमण करके रखा है। इसको लेकर किराना एसोशिएशन के अध्यक्ष और पदाधिकारियों ने एक ज्ञापन भी सौंपकर विरोध और आपत्ति जताई है।
पर्दे के पीछे भी कई चेहरे
मैदान का जीर्णोद्वार भाजपा की अंदरूनी कलह खोल रहा है, धीरे-धीरे मैदान की बहाने विधायक का विरोध किया जा रहा है, चूंकि नर्मदापुरम में भाजपा तीन गुटों में बटी है, पहला संगठन, दूसरा विधायक, तीसरा पूर्व नपाध्यक्ष का, अब ऐन चुनाव के मौके पर विरोध किया जाना भाजपा की नीति रीति से अलग समझा जा रहा है। हालाकि जिले में विधानसभा चुनाव नजदीक हैं ऐसे में चारों विधायक अपने-अपने क्षेत्रों पर फोकस में लगे हैं, वहीं विरोध गुट ऐन चुनाव के मौके पर करोड़ों की लागत से बनने वाले भगवान राम (रामलीला मैदान) पर बन रहे स्टेडियम का विरोध समझ से परे है।
शर्मा ने लिखा पत्र
इस मामले को लेकर समाजसेवी भवानीशंकर शर्मा ने जनहित के कार्यों पर आपत्ति लेने पर श्री चौकसे को पत्र भी लिखा है, जिसमें उन्होंने उल्लेख किया है कि नर्मदापुरम एकमात्र शहर है जहां विकास तथा नागरिकों की सुविधाओं की योजनाओं का बेमतलब विरोध किया जाता है। विगत 50 वर्षों से शहर के हृदय स्थल पर टूटे पड़े एसएनजी. स्टेडियम को नहीं बनने दिया जा रहा। शहर में सर्वसुविधायुक्त आडीटोरियम बनने का विरोध किया जा रहा है। आई.टी.आई. क्षेत्र में जिले के सबसे बड़े सर्वसुविधायुक्त अस्पताल का विरोध किया जा रहा है। गोया कि शहर में चिकित्सा, खेल, साहित्य, सांस्कृतिक, शिक्षा किसी भी क्षेत्र में नागरिकों की सुविधा, उन्नयन के लिये की जा रही पहल का विरोध किसी षडय़ंत्र के तहत किया जा रहा है। जहां तक बाजार में पानी भराने का प्रश्न है उसमें व्यापारी एसोसिएशन के ही कतिपय पदाधिकारियों ने नाले पर अतिक्रमण करके दुकानें आदि बना ली हैं तथा नालियों पर अवैध कब्जे कर नालियां बंद कर दी हैं यदि आप सब अवैध कब्जे हटा लें तो पानी भराव की समस्या का समाधान हो जायेगा।